सोलन. कुछ दिन पहले हुए ओले का असर अब किसानों को देखने को मिल रहा है. तोप की भेड़ पंचायत में किसानों की मटर की फसल 50 प्रतिशत से ज्यादा खराब हो चुकी है. जिसकी वजह किसानों के माथे पर चिंता की लकीरें साफ देखी जा रही हैंं.
सोलन के मटर की मांग न केवल हिमाचल में है बल्कि अपनी मिठास के कारण बाहरी राज्यों में भी बहुत है जिस कारण सोलन के किसानों की आर्थिकी सुदृढ़ रहती है लेकिन ओला के कारण ज्यादा तर मटर झड़ चुके है और जो बचे है वह दागी हो चुके है जिस कारण उनका मंडियों में भी दाम नहीं मिल रहा है यही कारण है कि सोलन का किसान आज बेहद मायूस है और वह इस आस में है की सरकार उसकी इस स्थिति में मदद करें.
मटर की मांग कम
तोप की भेड़ पंचायत के किसान प्रदीप कुमार व ज्ञान चांद ने अपनी दिल की पीड़ा सुनाते हुए कहा की उनकी फसल ओला वृष्टि से बिलकुल खत्म हो चुकी है और जो बची है उनके दाम उन्हें नहीं मिल रहे है. उन्होंने कहा की बीज लगाने और महंगी दवाइयों के छिड़काव के लिए उन्होंने ऋण लिया है और अब वह इस स्थिति में नहीं है कि वह फसल बेच कर अपना ऋण उतार सके.
संकट की इस घड़ी में किसानों ने सरकार से मांग करते हुए कहा की सरकार उनकी इस स्थिति में सहायता करें और खराब हुई फसल का उचित मुआवजा मुहैया करवाए ताकि वह ऋण चुकाने में सक्षम हो सके और अपने परिवार का भरन पोषण भी कर सकें.