नई दिल्ली. बांग्लादेश की प्रधानमंत्री शेख हसीना ने एक बार फिर म्यांंमार सरकार से रोहिंग्या मुसलमानों को वापस बसाने की अपील की है. म्यांमार में रोहिंग्या मुसलमानों पर जारी हिंसा के बाद वहां से पलायन जारी है. बांग्लादेश में चार लाख से अधिक रोहिंग्या मुसलमानों ने शरण ले रखी है.
संयुक्त राष्ट्र महासभा की बैठक में भाग लेने के लिए न्यूयार्क पहुंची बांग्लादेश की प्रधानमंत्री शेख हसीना ने अंतर्राष्ट्रीय समुदाय से म्यांमार पर दवाब बढ़ाने की अपील की है.
संयुक्त राष्ट्र महासभा की बैठक से हटकर उन्होंने मुसलमान बहुल देशों के नेताओं के साथ रोहिंग्या संकट पर विचार विमर्श भी किया. शेख हसीना ने कहा कि वे राजनयिक प्रयास कर रही हैं ताकि रोहिंग्या को दोबारा म्यांमार में स्थापित किया जा सके.
उन्होंने कहा, ‘‘ म्यामांर की सरकार उनके आह्वान पर ध्यान नहीं दे रही है. बजाय इसके, म्यामांर सीमा पर बारूदी सुरंग बिछा रहा है ताकि रोहिंग्या अपने मूल देश नहीं लौट सकें.’’ उन्होंने कहा कि म्यांमार रोहिंग्या को बांग्लादेशी कहकर दुष्प्रचार कर रहा है. उन्होंने रोहिंग्या समुदाय को म्यांमार की नागरिकता देने की अपील की है.
इधर, भारत के गृह मंत्री राजनाथ सिंह ने भारत में शरणार्थी रोहिंग्या मुसलमानों को अवैध प्रवासी बताते हुए उन्हें वापस म्यांमार भेजने की बात कही है.