नई दिल्ली. चालू तिमाही में 2.4 मिलियन टन प्राकृतिक गैस का आयात हुआ है. इस मामले में भारत ने चीन को भी पीछे छोड़ दिया है. बुधवार को राज्यसभा में बोलते हुये सांसद महेश पोद्दार ने कहा कि देश में पेट्रोलियम की जरूरत सालाना 5.6 फीसदी की दर से बढ़ रही है ऐसे में उर्जा के क्षेत्र में आत्मनिर्भर होने के लिये नवीन तकनीक और प्रबंधन कौशल को अपनाने की जरूरत है.
उन्होंने कहा कि ‘इंडियन इंस्टीच्यूट ऑफ पेट्रोलियम एंड एनर्जी बिल 2017’ हमें पेट्रोलियम क्षेत्र में नये तकनीक और प्रबंधन कौशल विकसित करने में मदद करेगी. उन्होंने कहा कि विशाखापत्तनम के इंडियन इस्टीट्यूट ऑफ पेट्रोलियम एंड एनर्जी(आईआईपीई) को राष्ट्रीय महत्व का संस्थान बनाया जायेगा. उन्होंने सदन को बताया कि 2016 से यहां स्नातक स्तर की पढ़ाई हो रही है. यहां पेट्रोलियम, हाइड्रोकार्बन और उर्जा तकनीक के साथ-साथ प्रबंधन और शोध की व्यवस्था भी है.
उन्होंने झारखंड सहित देश के अन्य राज्यों में गैस पाइप लाइन बिछाने में नये तकनीक के उपयोग करने की बात कही.
राज्यसभा सांसद ने कहा कि पेट्रोलियम क्षेत्र में सौ फीसदी एफडीआई लागू होने की वजह से कई बड़ी कंपनियां भारत में निवेश करने की इच्छुक हो रही हैं. इनमें सउदी अरब की कंपनी सहित देश की कई सार्वजनिक और निजी क्षेत्र की कंपनियां शामिल हैं. भविष्य की जरूरत को पूरा करने के लिये इंडियन ऑयल कॉरपोरेशन अन्य कंपनियों के साथ साझेदारी में 60 मिलियन मीट्रिक टन की क्षमता वाले रिफायनरी स्थापित करने की योजना बना रही है. इसे पूरा करने में 40 बिलियन यूएस डॉलर की लागत आयेगी.
उन्होंने कहा कि पेट्रोलियम संस्थाओं को स्वायत्त बनाने की पहल हो रही है. बिल को अपना समर्थन देते हुये उन्होंने प्रबंधन समिति में प्रोफेसर के साथ-साथ छात्रों को भी शामिल करने की सलाह दी. उन्होंने कहा कि देश में केवल 10 संस्थाओं में पेट्रोलियम तकनीक की पढ़ाई होती है. आइएसएम धनबाद भी उर्जा तकनीक के क्षेत्र में बेहतर काम कर रहा है. इसलिये यहां के प्रोफेसर को भी प्रबंध समिति में शामिल किया जाना चाहिये.
पेट्रोलियम सेक्टर में भारत का स्थान चीन और अमेरिका के बाद तीसरा है. भारत में पेट्रोलियम का सालाना 10 लाख करोड़ का कारोबार है. अप्रत्यक्ष कर का दूसरा सबसे बड़ा हिस्सा पेट्रोलियम उत्पादों से आता है. मालूम हो कि 18 जुलाई 2017 को ‘इंडियन इंस्टीच्यूट ऑफ पेट्रोलियम एंड एनर्जी बिल 2017’ को लोकसभा में पेश किया गया था.