शिमला. हिमाचल प्रदेश में ऋण-जमा अनुपात में लगातार गिरावट सभी के लिए, विशेषकर बैंकों के लिए चिन्ता का विषय है. यह बात मुख्य सचिव वी सी फारका ने शुक्रवार को शिमला में राज्य स्तरीय बैंकर्स समिति की 145 वीं बैठक की अध्यक्षता करते हुए कही.
उन्होंने बैंकों से प्राथमिकता तथा गैर-प्राथमिकता वाले क्षेत्रों में ऋण पर बल देने को कहा. उन्होंने कहा कि प्रदेश की आर्थिकी के आधार कृषि व बागवानी क्षेत्रों में उदार ऋण प्रदान किये जाने चाहिए.
जून तक 44,709 लाख के ऋण वितरित
बैठक में जानकारी दी गई कि 30 जून, 2017 तक कुल 44,709 लाख रुपये के ऋण वितरित किये गए हैं तथा जमा की गई राशि 1,00,643 लाख रुपये हैं, जिसके फलस्वरूप कुल सीडी अनुपात 44.87 प्रतिशत बनती है. इसके साथ ही बैंकों ने प्रदेश के सभी घरों में कम से कम एक बचत खाता खोलने का लक्ष्य हासिल किया है.
जानकारी दी गई कि प्रधानमंत्री जन-धन योजना के अन्तर्गत कुल 10.16 लाख मूल बचत खाते कार्यशील हैं.
31 दिसम्बर से पहले आधार को बैंक खाते से जुड़वायें
प्रदेश में बैंकों ने जून, 2017 तक 7,72,627 रुपे-कार्ड जारी किए. वहीं, 87 फीसदी लक्ष्य को प्राप्त करते हुये 8,83,992 प्रधानमंत्री जनधन योजना खातों को आधार नम्बरों से जोड़ा गया. आधार को खाते से जोड़ने की अन्तिम तिथि 31 दिसम्बर, 2017 है. सभी बैंक खातों को आधार से जोड़ना अनिवार्य है.
यह भी अवगत करवाया गया कि अटल पेंशन योजना के अन्तर्गत प्रदेश में कुल 38,872 उपभोक्ताओं को पंजीकृत किया गया है, लेकिन पंजीकरण की गति काफी धीमी है. योजना के अन्तर्गत उपभोक्ता को योगदान के आधार पर 60 साल की आयु पूरी होने पर कम से कम 1000 रुपये से लेकर 5000 रुपये की मासिक पेंशन दी जाएगी.
फारका ने कहा कि प्रदेश में प्रगति काफी सन्तोषजनक है तथा राज्य की प्रति व्यक्ति आय 1,47,277 रुपये है जबकि राष्ट्रीय स्तर पर यह आकंड़ा 93,293 रुपये का है.
फारका ने सामाजिक सुरक्षा योजनाओं के अन्तर्गत लम्बित बीमा दावों पर चिन्ता जाहिर की. उन्होंने कहा कि ये दावे छोटी राशि के होते हैं और इन्हें सीमित समय में निपटाने के निर्देश दिए ताकि निर्धन लोगों को राहत मिल सके.
मुख्य सचिव ने कहा कि राज्य सरकार बैंक खातों में अदायगी के लिए डिजिटल लेन-देन को सक्रियता से बढ़ावा दे रही है ताकि नकदी रहित समाज के लिए अनुकूल वातावरण सृजित हो सके.
4 अक्तूबर को ‘मुद्रा योजना’ जागरूकता शिविर
अतिरिक्त मुख्य सचिव वित्त डा0 श्रीकान्त बाल्दी ने समाज में महिलाओं व कमजोर वर्गों के कल्याण की आवश्यकता पर बल दिया. उन्होंने बैंको से बडे़ पैमाने पर वित्तीय जागरूकता अभियान के द्वारा लोगों को सरकार द्वारा प्रायोजित तथा बैंकों की निजी योजनाओं से आम जन मानस को लाभान्वित करने के लिए कहा.
यूको बैंक के प्रबन्ध निदेशक एवं मुख्य कार्यकारी अधिकारी आरके टक्कर ने अपने सम्बोधन में बताया कि प्रदेश में बैंक ने 1.35 लाख करोड़ रुपये का कुल कारोबार किया है. उन्होंने कहा कि बैंक ने जून, 2017 तक समाप्त होने वाली तिमाही के दौरान कुल 1,39,791 नई इकाईयों को 4799 करोड़ रुपये के नये ऋण दिए हैं.
भारतीय रिजर्व बैंक के क्षेत्रीय निदेशक अमर नाथ ने बैंकों से वित्तीय समावेशण अभियान को जमीनी स्तर पर चलाने पर बल देने को कहा ताकि बैंक की सेवाएं कोने-कोने तक पहुंचाई जा सके.
2022 तक किसानों की आय को दोगुनी
वहीं, नाबार्ड के मुख्य महाप्रबंधक कृष्ण सिंह ने वर्ष 2022 तक किसानों की आय को दोगुनी करने के लक्ष्य को हासिल करने के लिए प्रयास करने को कहा.
यूको बैंक के महाप्रबन्धक यूसी. शर्मा ने मुख्य सचिव का स्वागत किया तथा उप महाप्रबन्धक विवेक कौल ने धन्यवाद प्रस्ताव प्रस्तुत किया.