बिलासपुर. पूर्व सैनिक कल्याण समिति हिमाचल प्रदेश द्वारा 46वां भारत पाकिस्तान युद्ध विजय दिवस मनाया गया. राज्य स्तरीय वीर सैनिक सम्मान समारोह का आयोजन अल्फा सीसे स्कूल के प्रांगण में समिति के प्रदेश अध्यक्ष सूबेदार प्रकाश चंद की अध्यक्षता में बड़ी धूमधाम से मनाया गया. सर्वप्रथम 1971 के युद्ध में शहीद हुए रणबांकुरों को दो मिनट का मौन रखकर श्रद्धांजलि दी गई. इस विजय दिवस पर मुख्य अतिथि के रूप में कारगिल युद्ध के हीरो ब्रिगेडियर खुशाल ठाकुर वाईएसएम एवं वरिष्ठ अतिथि के रूप में बिटिया फांउडेशन के प्रदेश अध्यक्ष सीमा सांख्यान ने शिरकत की.
पाकिस्तान के 20 हजार सैनिकों को मौत के घाट उतारा था
सूबेदार प्रकाश चंद ने इस युद्ध पर प्रकाश डालते हुए कहा कि भारत-पाकिस्तान युद्ध 3 दिसंबर 1971 को शुरू हुआ और 15 व 16 दिसंबर 1971 को भारत सरकार ने मध्य रात्रि को युद्ध विराम की घोषणा कर दी. उन्होंने कहा कि युद्ध 14 दिनों तक लड़ा गया और इसमें हिमाचल के 190 सैनिकों सहित भारतीय सेना के 3843 सैनिकों ने मातृभूमि की रक्षा करते हुए अपने प्राणों की आहुति दी. वहीं भारतीय सेना के 3851 सैनिक जख्मी हुए. उन्होंने कहा कि भारतीय सेना ने इस युद्ध में पाकिस्तान के 97360 सैनिकों को बंदी बनाया. जबकि 20,000 सैनिकों को मौत के घाट उतारा और 4350 सैनिकों को जख्मी किया. इसलिए 16 दिसंबर को विजय युद्ध दिवस के रूप में मनाया जाता है.
ये देश है वीर जवानों का अलबेलों का मस्तानों का
इस अवसर पर हिमाचल प्रदेश के प्रसिद्ध लोकगायक धीरज शर्मा ने ‘ये देश है वीर जवानों का अलबेलों का मस्तानों का, भेड़ा तेरीयां हो चुगी गईयां फाट नीलमा व इस ग्राईं देयां लंबडा हो’ इत्यादि गीत गाकर कार्यक्रम में लोगों का उत्साह बढ़ाया. जबकि अल्फा सीसे स्कूल के बच्चों ने भी इस कार्यक्रम में अपनी प्रस्तुतियां दीं. इस राज्य स्तरीय वीर सैनिक सम्मान समारोह में शिमला, सोलन, मंडी, हमीरपुर, बिलासुर व ऊना सहित अन्य जिलों के पूर्व सैन्य अधिकारियों व सैनिकों ने बढ़चढ़ कर भाग लिया.