नई दिल्ली. गुजरात के दाहोद जिले के गरबदा तालुका के जसवाड़ा गांव में हिंसा बढ़ने से गुरुवार को एक गांववासी की मौत हो गयी. गुस्साए ग्रामीणों ने इसके बाद जमकर पथराव किया और पुलिस का वाहन फूंक दिया. भीड़ को नियंत्रित करने के लिए पुलिस को फायरिंग करनी पड़ी.
मामला उस वक्त का है जब एक आरोपी के 31 साल के भाई कनेश गरम सहित एक और व्यक्ति को पूछताछ के लिए दोपहर एक बजे के करीब जसवाड़ा पुलिस स्टेशन ले गये जिसके बाद उन दोनों को तकरीबन तीन बजे छोड़ दिया गया. वापस आने के करीब एक घंटे बाद कनेश की मौत हो गयी.
कनेश की मौत से गुस्साये गांव वालों ने उसका शव लेकर जसवाड़ा पुलिस स्टेशन गये और पुलिसकर्मियों के खिलाफ केस लिखे जाने की मांग की. गांव वालों ने पुलिस पर आरोप लगाया कि पूछताछ के लिए ले गये कनेश गरम को मारा-पीटा गया और उसे प्रताड़ित किया. जिसकी वजह से उसकी मौत हुयी है. इसके बाद गांव वालों ने थाने को घेर लिया और पत्थरबाजी शुरू कर दी और साथ ही पुलिस के एक वाहन को आग के हवाले कर दिया. इस हिंसा को रोकने के लिए पुलिस ने पहले आंसू गैस के गोले छोड़े लेकिन भीड़ नियंत्रित न होने पर पुलिस ने फायरिंग की जिससे बताया जा रहा कि एक व्यक्ति की मृत्यु हो गयी.
एसपी प्रेम सिंह ने बताया, ‘पूछताछ के बाद युवकों को गांव के कुछ लोगों के सामने ही वापस छोड़ा गया था. परिजनों के आरोप पर हमने उन्हें समझाने की कोशिश की, लेकिन भीड़ बेकाबू हो गई और पथराव-आगजनी शुरू कर दिया. जिसकी वजह से फायरिंग करनी पड़ी.