शिमला. सरकारी स्कूलों में पढ़ने वाले बच्चों का शिक्षा का स्तर कितना बढ़ा या कम हुआ. खासकर के गणित व विज्ञान में 10वीं कक्षा के छात्रों को कितनी समझ है. यह जानने के लिए जल्द ही सर्वे टेस्ट होगा. रोचक बात यह है कि प्रदेश के सरकारी स्कूलों में पढ़ने वाले छात्रों का पहली बार ऑनलाइन सर्वे होगा. बच्चों का गणित व विज्ञान में स्तर जानने के अतिरिक्त जाना जाएगा कि राष्ट्रीय माध्यमिक शिक्षा अभियान का मॉड्यूल कितना कारगर है.
ऑनलाइन कॉम्पिटिटिव टेस्ट मॉड्यूल तैयार किया
राष्ट्रीय माध्यमिक शिक्षा अभियान ने ऑनलाइन कॉम्पिटिटिव टेस्ट मॉड्यूल तैयार किया है. जिसके माध्यम से पहली बार हिमाचल के सरकारी स्कूलों में पढ़ने वाले छात्रों का उपलब्धि सर्वे कंप्यूटर पर होगा. आरएमएसए ने मामले पर योजना तैयार की है. जिसको स्वीकृति मिलते ही संभावित तिथि 21 या 27 दिसम्बर की सर्वे टेस्ट होगा.
लाहुल व किन्नौर जिला को छोड़कर
सर्वे टेस्ट के तहत लाहुल व किन्नौर जिला को छोड़कर सभी जिला से कम से कम 50 स्कूलों के बच्चों की यह परीक्षा होगी. एक स्कूल से कम से कम दस बच्चे लिए जाएंगे. जिन्हें गणित व विज्ञान में 100-100 अंको की ऑब्जेक्टिव टाइप परीक्षा देनी होगी. प्रदेश में कम से कम 500 स्कूलों में परीक्षा करवाने का लक्ष्य रखा है.
मामले पर बीपीईओ, क्लस्टर हेड सहित वोकेशनल व आईसीटी प्रिंसिपल को प्रशिक्षण दे दिया गया है. योजना के मुताबिक टेस्ट करवाने का जिम्मा टीचर ट्रेनिंग इंचार्ज, प्रवक्ता आईटी या एएनओ आईसीटी साथ ही जो उप निदेशक शिक्षा उच्च कार्यालय में तैनात नोडल ऑफिसर को दिया गया है. परीक्षा से पहले आरएमएसए बीआरसीसी से रिपोर्ट लेगा कि जिला के कौन कौन से स्कूल में परीक्षा होनी है.
छात्रों के यूजर आईडी बनाये गये
ऑनलाइन कम्पीटीटिव टेस्ट मॉड्यूल में राजकीय वरिष्ठ माध्यमिक पाठशालाओं के प्रधानाचार्यो सहित छात्रों के यूजर आईडी बनाये गए हैं. प्रिंसिपल को जिसके पासवर्ड दिए गए है. प्रधानाचार्य अपने आईडी से छात्रों को एनरोल कर सकते हैं. अभी फिलहाल 10वीं के छात्रों की आईडी बनाई गई है.
इसलिए होगा टेस्ट
बच्चों का गणित व विज्ञान में शिक्षा का स्तर पता लगेगा कि बीते सालों की तुलना में बढ़ा या घटा. ऑनलाइन पहली बार है तो जान जाएगा कि आरएमएसए का पोर्टल काम कर रहा है या नहीं. साथ ही ऑनलाइन प्रक्रिया कितनी उपयोगी साबित होती है इसका भी ट्रायल होगा.
इससे पहले हुए ये सर्वे
राष्ट्रीय माध्यमिक शिक्षा अभियान व एनसीईआटी द्वारा 9वीं व 10वीं के इससे पहले 2015 व 2016 में भी उपलब्धि सर्वेक्षण हुए है. पिछले साल की यदि बात करें तो ओएमआर शीट पर पहली बार बच्चों ने सर्वे टेस्ट दिया था और इस साल ऑनलाइन देंगे.
ऑनलाइन कॉम्पिटिटिव टेस्ट मॉड्यूल बनाया गया है. जिसको तैयार करने में एस्पायर ने तकनीकी योगदान दिया है. घनश्याम चंद, राज्य परियोजना निदेशक आरएमएसए, हिमाचल प्रदेश.