शिमला. उत्तराखंड के पूर्व मुख्यमंत्री हरीश रावत के भाजपा पर हमले जारी हैं. भाजपा की नीतियों की चर्चा करते हुए उन्होंने भाजपाइयों की तुलना हिटलर के मंत्री ‘गोवेल्ज’ से कर दी.
भाजपा के दलित कार्ड पर प्रहार
रावत ने भाजपा के दलित कार्ड पर कहा कि थावरचंद गहलोत ने गलत आंकड़े दिए हैं. जबकि मंत्रालय की ओर से दलित, गरीब और अनुसूचित जाति जनजाति व अन्य पिछड़ा वर्ग की योजनाओं के बजट में कटौती हुई है. महिला कल्याण मंत्री मेनका गांधी ने खुद इस बात को माना. उन्होंने कहा कि बेरोजगारी को नहीं रोका जा सका तो दलित कार्ड खेल कर लोगों को गुमराह किया जा रहा है.
कौशल प्रशिक्षण के बावजूद रोजगार नहीं
श्री रावत ने शिमला में कहा कि भारतीय मजदूर संघ ने भी माना है कि एक लाख लोगों को कौशल प्रशिक्षण के बावजूद काम नहीं मिल पाया. जिन्हें मिला भी वह भी सिर्फ आंशिक. इसी कारण मोदी सरकार ने मंत्री को ही बदल दिया. सोशल सेक्टर में भी 23 फीसदी से ज्यादा कटौती की गई। साढ़े तीन साल में केंद्रीय अंशदान में कमी हुई है.
भाजपा में भी कम नहीं दागी
कांग्रेस में दागियों के सवाल पर रावत ने कहा कि एक रिपोर्ट के मुताबिक भाजपा के 23 फीसदी चुने हुए प्रतिनधियों पर मामले दर्ज हैं और वे जमानत पर चल रहे हैं. ऐसे में कांग्रेस पर आरोप लगाना गलत है. भाजपा जोर-जोर से झूठ बोलकर उसे सच साबित करने की कोशिश करते हैं. रावत ने भाजपा के लोगों की तुलना गोवेल्ज से की.
जय शाह के गुरु बनाने के लिए सुखराम को ले गई भाजपा
सुखराम के भाजपा में शामिल होने के प्रश्न पर रावत ने कहा कि अब सुखराम सही जगह पहुंच गए हैं. क्योंकि वहां वह अब अमित शाह के बेटे जय शाह के गुरु बनेंगे. बागियों पर बोले कि अधिकांश जगह पर बागियों ने नाम वापस ले लिए हैं.