शिमला: हिमाचल में कालका-शिमला हेरिटेज रेलवे ट्रैक पर शिमला से शोघी के बीच आज से पैनोरमिक विस्ताडोम ट्रेन का ट्रायल शुरू होगा. ट्रायल के लिए कालका पहुंची आरडीएसओ लखनऊ की टीम ने रविवार को पूर्व निर्धारित शेड्यूल के तहत कालका रेलवे स्टेशन पर रैक प्लेसमेंट के बाद ट्रायल उपकरणों को शिफ्ट करने का काम पूरा किया.
सोमवार से शिमला और शोघी के बीच पैनोरमिक विस्ताडोम ट्रेन के चार कोच दौड़ाए जाएंगे और 22 से 28 किलोमीटर प्रतिघंटा की रफ्तार पर ट्रायल होगा. पहले पांच दिन खाली कोचों के साथ ट्रायल होगा, अगले पांच दिन वजन (रेत के बोरे) के साथ ट्रायल होगा. आरडीएसओ के संयुक्त निदेशक आरएस तिवारी ने बताया कि ट्रायल के लिए इंस्ट्रूमेंटेशन की सभी तैयारियां पूरी कर ली गई है.
आरसीएफ कपूरथला ने बनाए हैं आधुनिक कोच
पैनोरमिक विस्ताडोम ट्रेन के अत्याधुनिक कोचों का निर्माण आरसीएफ कपूरथला में किया गया है. आरसीएफ की टीम भी ट्रायल के दौरान मौजूद रहेगी. बीते साल दिसंबर में दो पैनोरमिक शेल कोचों का ट्रायल किया गया था. इसमें सीटें नहीं थीं, मात्र कोच का ढांचा ही कालका-शिमला सेक्शन पर दौड़ाया गया था.
पैनोरमिक शेल कोचों का ट्रायल सफल रहा था. सोमवार से शुरू होने वाला चार कोचों का ट्रायल सफल होने के बाद इसी साल कालका और शिमला के बीच सात पैनोरमिक विस्ताडोम कोच वाली स्पेशल ट्रेन का संचालन शुरू हो जाएगा.
1 करोड़ में तैयार हुआ एक पैनोरमिक कोच
एक पैनोरमिक कोच की अनुमानित लागत एक करोड़ रुपये है. परीक्षण के लिए तैयार किए गए ट्रायल रैक में एसी एग्जीक्यूटिव चेयरकार, एसी चेयरकार, नॉन एसी चेयरकार और लगेज कार शामिल हैं. एक्जीक्यूटिव चेयरकार 12 सीटर, चेयरकार 24 सीटर, नॉन एसी चेयरकार 30 सीटर और पावर कार कम लगेज वैन में गार्ड के बैठने की व्यवस्था रहेगी.
इन कोचों में खिड़कियों का आकार बड़ा है. छत तक खिड़की है, जिससे यात्री पहाड़ों और घाटियों की सुंदरता का आनंद ले सकेंगे. कोच एयर ब्रेक, एलईडी लाइट, 360 डिग्री पर घूमने वाली चेयर, सीसीटीवी और फायर अलार्म से लैस है.