नई दिल्ली. दक्षिण अफ्रीका की पारी 65.5 ओवर में 194 पर समाप्त हुई. पहली पारी के आधार पर दक्षिण अफ्रीका की टीम को 7 रन की बढ़त मिली है. हाशिम अमला ने सबसे ज्यादा 61 रन बनाए. वर्नोन फिलेंडर ने 35 और कागिसो रबाडा ने 30 रन बनाया. भारत के गेंदबाज बुमराह ने अफ्रीकी खिलाड़ियों को गुमराह करते हुए पांच विकेट झटके. वहीं भुवनेश्वर कुमार ने तीन विकेट हासिल किए. सीरीज गंवाकर सम्मान बचाने उतरी भारतीय टीम का हाल पिछले दो मैच की तरह ही रहा. विश्व की नंबर एक टेस्ट टीम के सामने क्लीन स्वीप टालने का खतरा मंडरा रहा है. जोहानसबर्ग की तेज पिच पर भारतीय बल्लेबाजों ने घुटने टेक दिए. पूरी टीम 187 रन पर ढेर हो गई.
भारतीय टीम के कप्तान विराट कोहली ने टॉस जीतकर पहले बल्लेबाजी करने का फैसला किया. इस मैच में दो बदलाव किए गए. अजिंक्य रहाणे और भुवनेश्वर कुमार को रोहित शर्मा और आर आश्विन की जगह खिलाया गया.
सलामी बल्लेबाज लौटे पवेलियन
मैच शुरू होते ही अफ्रीकी गेंदबाज हावी हो गए. भारत के दोनों सलामी बल्लेबाज महज 13 रन के स्कोर पर पवेलियन की राह देख चुके थे. जहां केएल राहुल अपना खाता भी नहीं खोल सके थे, वहीं मुरली विजय ने भी महज 8 रन बनाए. दो विकेट जल्दी खो देने के बाद कप्तान विराट कोहली और चेतेश्वर पुजारा ने टीम को संभाला. दोनों के बीच 84 रन की साझेदारी हुई. विराट कोहली का अर्धशतक पूरा होने के बाद वह लुंगी का शिकार बने. इसके बाद भारत का विकेट गिरने का सिलसिला कायम हो गया.
पुजारा की धीमी पारी
एक ओर विकेट गिरने का सिलसिला जारी था, तो दूसरी ओर चेतेश्वर पुजारा खूंटा गाड़कर खड़े हो गए थे. जल्द दो विकेट खो देने के बाद उन्होंने विराट के साथ 84 रन की अहम साझेदारी निभाई. वह मानो कसम खाकर आए हों की पिच पर टिककर खेलेंगे. पुजारा इतने इतमिनान से बल्लेबाजी कर रहे थे कि वह एक समय रिकॉर्ड बनाने के करीब पहुंच गए थे. जोकि शर्मनाक होता. पुजारा ने 53 गेंदों में अपना खाता खोला. यह किसी भी भारतीय बल्लेबाज के लिए रिकॉर्ड है. हांलाकि इग्लैंड के जॉन मरे ने 1962-63 में ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ अपना खाता खोलने के लिए 79 गेंदें खेली थीं. दूसरे नंबर पर कीवी बल्लेबाज ज्यॉफ एलॉट हैं, जिन्होंने 1999 में साउथ फ्रीकी के खिलाफ खाता खोलने के लिए 77 गेंदें खेल ली थी. इन दोनों के बाद पुजारा तीसरे नंबर पर आ गए हैं. पुजारा 179 गेंदों पर 50 रन बनाकर आउट हुए.
कुछ खास नहीं कर सके रहाणे
रोहित शर्मा की जगह यह मैच खेल रहे अजिंक्य रहाणे पहली पारी में कुछ खास नहीं कर सके. वर्नोन फिलेंडर की गेंद पर उन्हें कैच आउट दिया गया, लेकिन यह नोबॉल निकल गई. रहाणे को इसके बाद मोर्केल की गेंद पर पगबाधा आउट दे दिया गया. इसके बाद भारत का कोई भी बल्लेबाज नहीं टिक सका. भुवनेश्वर कुमार ने जरूर 30 रन बनाकर भारत को सम्मानजनक स्कोर तक पहुंचाने में प्रयास करते रहे.