सुंदरनगर (मंडी). प्रदेश में जहां किसान और बागवान बारिश न होने से चिंतित है वही करीब एक महीने बाद अब मौसम के करवट लेने से ठंड भी बढ़ गई है. एेसे में माना जा रहा है कि अब हिमाचल प्रदेश में जल्द सूखे जैसे हालात से राहत मिल सकती है.
प्रदेशभर में बारिश और बर्फबारी के आसार हैं. मौसम विभाग ने आगामी 24 घंटों के दौरान राज्य के मैदानी क्षेत्रों में बारिश और मध्यवर्ती व अधिक ऊंचाई वाले इलाकों में कुछ स्थानों पर तेज बारिश और बर्फबारी की संभावना जताई है और मंगलवार को प्रदेश सहित सुंदरनगर में मौसम ने करवट लेते हुए जहा तापमान में गिरावट दर्ज की गई तो तेज हवाओ की ठंड से लोग आग जला कर ठंड से बचते हुए नजर आये.
उधर, राज्य के अन्य कुछ शहरों का न्यूनतम तापमान शून्य के आसपास दर्ज किया गया. इन शहरों में भुंतर में 0.1, कल्पा में 1.4, सुंदरनगर में 1.5, सोलन में 1.8, चंबा में 2, मंडी में 2.6, बिलासपुर में 2.9, हमीरपुर में 3.9 और कांगड़ा में 4.9 डिग्री सैल्सियस रिकॉर्ड हुआ. चौंकाने वाली बात यह है कि सर्द रहने वाली राजधानी शिमला में ठंड से राहत मिल रही है. शिमला में आज न्यूनतम तापमान 6 डिग्री सैल्सियस दर्ज हुआ और यह सामान्य से 4 डिग्री अधिक है.
एक माह से ज्यादा समय से नहीं हुई बारिश-बर्फबारी
हिमाचल प्रदेश में एक माह से ज्यादा समय से बारिश-बर्फबारी नहीं हुई है.हालांकि राज्य के कुछ पर्वतीय इलाकों में 11 दिसंबर को हिमपात हुआ था. राजधानी शिमला के लोग जहां इस सीजन की पहली बर्फबारी का दीदार करने के लिए तरस रहे हैं, वहीं पर्यटक भी यहां बर्फबारी न होने के चलते निराश हो रहे हैं.
कई स्थानों पर पारा जमाव बिंदू से नीचे
हिमाचल प्रदेश के पर्वतीय हिस्सों में ठंड का प्रकोप जारी है और कुछ स्थानों पर पारा जमाव बिंदू से नीचे बना हुआ है। जनजातीय जिला लाहौल-स्पीति का केलांग प्रदेश में सबसे ठंडा स्थल बना हुआ है। सोमवार को यहां न्यूनतम तापमान शून्य से 6.9 डिग्री नीचे दर्ज किया गया जबकि बीते कई दिनों से केलांग का पारा माइनस में दर्ज किया जा रहा है। पर्यटन स्थल मनाली में आज सुबह पारा माइनस 1 डिग्री दर्ज किया गया. पिछले दिन मनाली में पारा माइनस 0.6 डिग्री था।
कुछ लोगों ने बताया की मौसम ने एक दम से करवट ली है और बहुत कड़ाके की ठंड पढ़ रही है और पिछले करीब एक महीने से बारिश न होने से लोगों को पिने के पानी को दिक्कत पेश आ रही है. वहीं लोगों ने प्रदेश सरकार से मांग उठाई है की प्रदेश में पानी की उचित व्यवस्था की जाये. गरीब निर्धन लोगों की भी सहायता की जाये जिन के रहने का कोई उचित प्रबंध नहीं है. लोगों का कहना है कि कई जगह स्कूलों की खिड़कियां भी टूटी पड़ी है. जिसकी वजह से बच्चे ठंड से ठीठुर रहे है इस के लिए भी कोई उचित कदम उठाये जाये.