शिमला. नाक से ली जाने वाली नेजल वैक्सीन के बाद अब देश में जल्द ही मुंह से ली जाने वाली कोरोना वैक्सीन बाजार में उपलब्ध होगी. ओरल वैक्सीन के लिए नामी कंपनियों के वैज्ञानिक कार्य कर रहे हैं. यह वैक्सीन बूस्टर के रूप में इस्तेमाल की जा सकती है. इस वैक्सीन का कार्य अंतिम चरण में है.
कसौली में कोरोना की नेजल वैक्सीन का होगा क्वालिटी व कंट्रोल टेस्ट
जल्द ही औपचारिकताएं पूरी कर नामी वैक्सीन निर्मातामुंह से कोरोना वैक्सीन लेने का भी ट्रायल (डीसीजीआई) को क्लीनिकल ट्रायल के लिए पत्र सौंपेगी. मंजूरी मिलने के बाद क्लीनिकल ट्रायल शुरू होंगे. वैक्सीन के क्वालिटी और कंट्रोल टेस्ट बैच सेंट्रल ड्रग्स लेबोरेटरी (सीडीएल) कसौली पहुंचेंगे. जहां से ग्रीन टिक मिलने के बाद क्लीनिकल ट्रायल कंपनी करेगी और इसकी रिपोर्ट डीसीजीआई को सौंपेगी. सफलता मिलने के बाद यह पीने वाली पहली कोरोना वैक्सीन होगी.
इन दिनों कोरोना के मामले फिर से लगातार बढ़ रहे हैं. लोगों की शारीरिक क्षमता को बढ़ाने के लिए नई-नई वैक्सीन बाजार में उतारी जा रही हैं. बीते 26 जनवरी को कोरोना के खात्मे को लेकर नेजल वैक्सीन को बाजार में उतारा गया था. इसके बाद वैज्ञानिकों ने मुंह से ली जाने वाली दवा के उत्पादन पर अधिक ध्यान दिया है. कोरोना के खिलाफ पीने वाली वैक्सीन एक हथियार के रूप में साबित हो सकती है. इससे पहले भारत में इंट्रामस्कूलर वैक्सीन लोगों को दी जा रही है. इसमें कोविशील्ड, नोवैक्सीन, स्पूतनिक-वी, जायकॉव-डी समेत कई वैक्सीन बाजार में उपलब्ध हैं.
टीके से डरने वालों को मिलेगा फायदा
कोरोना वैक्सीन में यह दूसरी ऐसी वैक्सीन होगी, जिसे टीका मुक्त लिया जा सकेगा. इससे टीके से डरने वाले लोगों को काफी फायदा मिलेगा. इस वैक्सीन का बूस्टर के रूप में भी प्रयोग किया जा सकेगा. बताया जा रहा है कि चीन में पीने वाली वैक्सीन को सफलता मिल चुकी है. वहीं भारत में भी इस पर तेजी से कार्य हो रहा है.