नई दिल्ली: संकट के दौर से गुजर रही दिल्ली सरकार में आज सौरभ भारद्वाज और आतिशी बतौर मंत्री पद की शपथ ग्रहण की. दिल्ली के उप मुख्यमंत्री मनीष सिसोदिया इस समय जेल में हैं और उनके साथ ही पहले से जेल काट रहे सत्येंद्र जैन का इस्तीफा भी स्वीकार हो चुका है. दिल्ली सरकार में दो मंत्रियों की खाली जगह को सौरभ और आतिशी ने भरी है.
दिल्ली के पूर्व उपमुख्यमंत्री मनीष सिसोदिया और पूर्व मंत्री सत्येंद्र जैन का इस्तीफा सोमवार को राष्ट्रपति ने मंजूर कर लिया था. इस बात की जानकारी देते हुए गृह मंत्रालय ने बताया कि मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल की सलाह पर दिल्ली सरकार के मंत्रियों का इस्तीफा राष्ट्रपति ने स्वीकार कर लिया है. इसके अलावा दिल्ली कैबिनेट में आतिशी और सौरभ भारद्वाज को बतौर मंत्री नियुक्त करने की अनुमति भी दे दी है.
तीसरी बार विधायक बने हैं सौरभ भारद्वाज
सौरभ भारद्वाज लगातार तीसरी बार ग्रेटर कैलाश से विधायक बने हैं. पहली बार 49 दिन की केजरीवाल सरकार में उन्हें मंत्री भी बनाया गया था, लेकिन दूसरी बार सरकार की जगह संगठन में लगाया गया. इस बीच वे संगठन के लिए काम करते रहे. तीसरी बार विधायक बनने और राघव चड्ढा के राज्यसभा सांसद बनने के बाद उन्हें दिल्ली जल बोर्ड का उपाध्यक्ष बनाया गया. वे पार्टी के संस्थापक सदस्य हैं और अन्ना आंदोलन से भी जुड़े थे.
2013 में पहली बार चुनाव लड़ने वाले सौरभ ने ग्रेटर कैलाश से भाजपा के दिग्गज नेता विजय कुमार मल्होत्रा के बेटे अजय कुमार मल्होत्रा को हराया था. 28 दिसंबर 2013 से 14 फरवरी 2014 तक परिवहन मंत्री की जिम्मेदारी भी संभाली. इसके बाद से सौरभ आम आदमी पार्टी की सियासत में आगे बढ़ते गए.
आतिशी पहली बार बनी मंत्री
कालकाजी विधानसभा सीट से आम आदमी पार्टी की विधायक आतिशी पहली बार कैबिनेट मंत्री बनेंगी. 2020 में पहली बार वे विधायक बनीं. आतिशी केजरीवाल सरकार के साथ लंबे समय से काम कर रही हैं. आतिशी की पढ़ाई दिल्ली के स्प्रिंगडेल स्कूल में हुई. इसके बाद उन्होंने सेंट स्टीफेंस कॉलेज से बैचलर डिग्री हासिल की. डीयू से पढ़ाई करने के बाद रोड्स स्कॉलरशिप हासिल कर ऑक्सफोर्ड यूनिवर्सिटी लंदन से मास्टर्स किया.
राजनीति में आने से पहले आतिशी आंध्रप्रदेश के ऋषि वैली स्कूल में इतिहास पढ़ाती थीं. उन्होंने कई स्वयंसेवी संस्थाओं के साथ भी काम किया है. वे अन्ना आंदोलन के समय केजरीवाल के संपर्क में आईं.